इंडिया टुडे कॉन्क्लेव एआई की शक्ति से संचालित मानवाकार रोबॉट—स्पेसियो—और गार्डियो नाम के साइबर हाउंड्स के लाइव प्रदर्शन का गवाह बना. स्पेसियो का निर्माण पुणे स्थित मक्स रोबॉटिक्स ने पूरी तरह भारत की सामग्री का इस्तेमाल करके किया है.
इस स्टार्टअप के संस्थापक प्रमाणित दंतचिकित्सक मुकेश बांगड़ हैं, जिन्हें बचपन से ही इलेक्ट्रॉनिक चीजों को एसेंबल करने का शौक था और बाद में न्यूरल नेटवर्क और एआई में उनकी दिलचस्पी विकसित हो गई. 2020 में उन्होंने रोबॉटिक फर्म लॉन्च करने के लिए करियर की राह बदल ली.
उन्होंने नए-नवेले काम करने वाले शख्स के रूप में अपनी अविश्वसनीय यात्रा साझा की कि किस तरह उन्होंने यूट्यूब पर वीडियो देखकर रोबॉटिक्स के बारे में अपने को शिक्षित किया और किस तरह उनके नवाचार टेक्नोलॉजी का परिदृश्य बदल देने की संभावनाओं से ओतप्रोत हैं.
खास बातें
> हर नई टेक्नोलॉजी बड़े पैमाने पर नौकरियां छिन जाने का अंदेशा पैदा करती है. लेकिन एआई नई नौकरियों का सृजन करेगा.
> मानवाकार रोबॉट स्पेसियो प्राइम अंतरिक्ष अभियानों के लिए उन्नत एआई टेक्नोलॉजी के साथ आया है. प्रो मॉडल औद्योगिक उपयोग के लिए है.
> भारत में बने रोबॉट अमेरिका में निर्मित रोबॉट से सस्ते होंगे पर लागत के मोर्चे पर चीन को अब भी बढ़त हासिल है. मगर भारत की ताकत सॉफ्टवेयर विकसित करने में होगी.