रॉबर्ट वाड्रा के बारे में कुछ भी अबूझ नहीं है. और यह बात शीशे की तरह साफ हो गई जब देश के प्रथम दामाद पूरी तरह गलत वजहों से पेज 3 से पेज 1 पर पहुंच गए. 43 वर्षीय वाड्रा ने विचित्र असंवेदनशीलता और असामान्य अहंकार दिखाया है, यहां तक कि जिस परिवार में उन्होंने शादी की है, उसके स्तर से भी ज्यादा. फरवरी में एक चुनावी सभा के दौरान एक मोटरसाइकिल पर फैलकर बैठने के साथ ही अपनी राजनैतिक महत्वाकांक्षा की घोषणा करने से लेकर, आम आदमी को ‘मैंगो पीपल’ कहकर उसके प्रति हिकारत दिखाने तक, इसे देखा जा सकता है.
वाड्रा की असली ताकत तब दिखी जब इंडिया अगेंस्ट करप्शन के नेता अरविंद केजरीवाल ने उन पर प्रॉपर्टी सौदों में भ्रष्टाचार और रियल एस्टेट दिग्गज डीएलएफ के साथ संदिग्ध गठजोड़ से भारी संपत्ति जुटाने का आरोप लगाया. वाड्रा ने खुद तो आरोपों पर कोई जवाब नहीं दिया, लेकिन कांग्रेस के कई वरिष्ठ नेताओं के नेतृत्व में पूरी सरकारी मशीनरी उन्हें बचाने के लिए जी-तोड़ प्रयास में लग गई. इसके विपरीत, जब तत्कालीन कानून मंत्री सलमान खुर्शीद के एनजीओ पर भ्रष्टाचार का आरोप लगा तो उनके बचाव में एक भी नेता सामने नहीं आया.
लेकिन उनकी सास सोनिया गांधी और पत्नी प्रियंका गांधी ने इस मामले में पूरी तरह खामोशी ओढ़ रखी थी, जबकि इसके पहले रायबरेली में राजनीति में शामिल होने के वाड्रा के बयान पर सफाई देने के लिए प्रियंका कूद पड़ी थीं. उन्होंने तब मीडिया पर आरोप लगाया था कि वे उनके पति से उलझने वाले सवाल करते हैं. उन्होंने जोर देकर कहा था कि वे सफल कारोबारी हैं और उनके पास राजनीति करने के लिए समय नहीं है.
अब उनका कारोबार ही शक के घेरे में आ गया है, जिसमें इस बात के काफी सबूत हैं कि उसकी सफलता काफी हद तक उस खानदान की ताकत की वजह से ही है, जिसमें वाड्रा ने शादी की है. इन सबके बावजूद वाड्रा ने अपनी पसंदीदा गतिविधियों को बंद नहीं किया हैः राजधानी के आलीशान होटल के जिम में कसरत करना और शहर की पॉश पार्टियों में दिखना. वे लेटेस्ट आला दर्जे की कारें और बाइक चलाते हैं और इसके साथ नोएडा के एफ 1 सर्किट में दिख जाते हैं, जहां ‘मैंगो पीपल’ के दिखने की संभावना कम होती है.
बाहरी दुनिया से उनका अंतिम संपर्क फेसबुक के इस स्टेटस मैसेज से हुआ थाः ‘मैंगो पीपल इन बनाना रिपब्लिक.’ इसके बाद हुए हंगामे की वजह से उन्हें अपना फेसबुक एकाउंट ही बंद करना पड़ा और उन्होंने कहा कि यहां के लोगों में हास्य-व्यंग्य की समझ ही नहीं है. निश्चित रूप से नहीं, जब यह रातोरात अमीर बने शख्स की ओर से आया हो.